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जय गुरुबंदे आश्रम में सत्संग ,ध्यानयोग के उपरांत दिया गया आशीर्वाद

छितौना वन आश्रम वाराणसी एवं नगवा आश्रम गाजीपुर में हुआ सत्संग

रिपोर्ट कमलेश कुमार स्वतंत्र पत्रकार विजन

वाराणसी। नूतन वर्ष 1 जनवरी 2024 को जय गुरुवंदे आश्रम छितौनावन जाल्हुपुर वाराणसी में सत्संग की गंगा में गोता लगाकर हजारों लोगों ने स्वामी जय गुरुवंदे जी महाराज के कर कमलो से आशीर्वाद ग्रहण करके नया काम करने का लिया संकल्प। स्वामी जय गुरुबंदे जी महाराज ने आस्थावान जनमानस को सत्संग सुनाते हुए बतलाया कि जो मानव अपने जीवन में दीन दुखियों का सेवा करता है और समय-समय पर किसी संत महापुरुष के सानिध्य में सत्संग करता है। अपने कमाई का दसवां अंश धर्मस्थलों प पर दान करता है ।गुरु की बताए हुए मार्ग पर चलता है ।उसके लिए हर दिन नया रहता है। ऐसे व्यक्ति की जीवन में नया-नया अनुभव गुरु कृपा से हृदय में उतरता है। इससे चुगली , कपट ,चोरी ,बेईमानी, निंदा एवं कटु वचन समस्त पुराने कार्य को छोड़कर भजन, भक्ति, सेवा ,सत्संग ,दया ,परोपकार, करुणा प्रेम जैसी नया कार्य को अपना लेता है उसे ईश्वर भी अपना बना लेते हैं। आत्मा, परमात्मा एवं महात्मा सदैव नये रहते हैं। जो मानव अपनी आत्मा के लिए भजन, परमात्मा मिलन के लिए ध्यान एवं संत महापुरुष की भक्ति करते हैं उसके लिए आनंद परमानंद का स्रोत खुल जाता है। स्वामी जी ने कहा-
नया नया सब कहे ,नया न जाने कोय ।जाना नया सो जय गुरुवंदे, भक्त गुरु का होय ।।
काम पुराना सब करें, नया कराते संत ।तब मिलते हैं जय गुरुबंदे ,घट में तेरे कन्त ।।

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