Home » घना कोहरा एवं पाला पड़ने से आलू, सरसो, मटर में रोग एवं कीट लगने की प्रबल सम्भावना है… कृषि अधिकारी
Responsive Ad Your Ad Alt Text

घना कोहरा एवं पाला पड़ने से आलू, सरसो, मटर में रोग एवं कीट लगने की प्रबल सम्भावना है… कृषि अधिकारी

रिपोर्ट गुड्डू यादव
स्वतंत्र पत्रकार विजन

गाजीपुर – जनपद के जिला कृषि रक्षा अधिकारी ने बताया है कि इस समय सर्दी का मौसम होने के साथ ही घना कोहरा एवं पाला पड़ रहा है जिसके कारण आलू, सरसो, मटर में रोग एवं कीट लगने की प्रबल सम्भावना है, फसलों को पाला से बचाव के लिए खेत की हल्की सिचाई करें एवं फसल की निरन्तर निगरानी करते है। आलू फसल की पत्तियों में किसी भी प्रकार का दाग- धब्बा दिखाई दे एवं छल्ले के आकार में बढता जाये तो समझे की झुलसा रोग का प्रकोप हो गया है इस रोग से बचाव के लिए आलू की फसल पर मैकोंजेब 75 प्रतिशत डब्ल्यू0पी0 फफॅूदनाशक रसायन की 2 ग्राम मात्रा/ लीटर पानी में घोेलकर 10 दिन के अन्तराल पर 2 छिडकाव करें। मटर की फसल को तुलसीता रोग (पाउडरी मिल्डयू) रोग से बचाव के लिए किसान बन्धू मैकोंजेब 75 प्रतिशत डब्ल्यू0पी0/जिनेब 75 प्रतिशत डब्ल्यू0पी0 की 2.0 किग्रा मात्रा अथवा कॉपरआक्सीक्लोराइड 50 प्रतिशत डब्ल्यू0पी0 की 3.0 किग्रा मात्रा 800 लीटर पानी में धोलकर प्रति हेक्टेयर की दर से छिड़काव करें। सरसो की फसल में चेंपा कीट (माहु) से बचाव के लिए क्लोरोपाइरीफास 20 प्रतिशत ई0सी0 दवा की 0.75 ली0 मात्रा को 800 लीटर पानी में घोलकर छिड़काव करें। गेहॅू की फसल में खरपतवार नियन्त्रण के लिए सल्फोसल्फ्यूरान 75 प्रतिशत ़ मेटसल्फ्यूरान मिथाईल 5 प्रतिशत डब्ल्यू0पी0 की 1 यूनिट मात्रा को 200 से 250 लीटर पानी में घोलकर प्रति एकड की दर से छिड़काव करें।

Responsive Ad Your Ad Alt Text

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Responsive Ad Your Ad Alt Text