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चिकित्सक नहीं जल्लाद है डॉक्टर सरकारी दंपत्ति – रूपेश श्रीवास्तव

स्वतंत्र पत्रकार विजन
इक़बाल अहमद

जनपद गोरखपुर शहर के बहुचर्चित डॉक्टर अनुज सरकारी और पीड़ित सिपाही पंकज कुमार के प्रकरण में पीड़ित सिपाही को न्याय दिलाने हेतु राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद में आज जिला अस्पताल में मुख्य चिकित्सा अधीक्षक कार्यालय के सामने भोजनावकाश में एक गेट मीटिंग किया मीटिंग की अध्यक्षता परिषद के कार्यकारी अध्यक्ष राजेश सिंह और संचालन महामंत्री मदन मुरारी शुक्ल ने किया। गेट मीटिंग को संबोधित करते हुए परिषद के अध्यक्ष रूपेश कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि पीड़ित सिपाही के पिता और पत्नी से मुलाकात के बाद पता चला कि 03 अक्टूबर को डॉक्टर और उसके गुंडो ने सिपाही को लात मुख्य और राड से बुरी तरह मारे, मारपीट में सिपाही का आधार कार्ड और कुछ और अन्य दस्तावेज अस्पताल में गिर गए थे अगले दिन जब सिपाही अपना डॉक्यूमेंट लेने अस्पताल पहुंचा तो कैमरे से ही डॉक्टर अनुज सरकारी और उनकी पत्नी ने उसे देख लिया जिसके बाद डॉक्टर की पत्नी ने सिपाही पंकज कुमार को अपने चेंबर में बुलाया और अपने गुंडों से सिपाही को जन्मजात नंगा करके बुरी तरह से पिटवाया सिपाही के सर पर पांच टांके लगे हैं और उसके शरीर पर डेढ़ दर्जन से अधिक चोट के निशान है डॉक्टर दंपति का यह कृत्य एक चिकित्सक का नहीं बल्कि जल्लाद का है, सिपाही को न्याय मिलने तक राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद उसके हक की लड़ाई लड़ता रहेगा। परिषद के महामंत्री मदन मुरारी शुक्ल ने कहा कि बहुत ही दुख का विषय है की गोरखपुर जनपद के पुलिस अधिकारी अपने ही सिपाही को न्याय नहीं दे पा रहे हैं ऐसे में आम जनमानस उनसे न्याय की उम्मीद कैसे करें मैं माननीय मुख्यमंत्री जी से हाथ जोड़कर प्रार्थना करता हूं कि इस मामले को संज्ञान में लेकर डॉक्टर दंपति के ऊपर एफआईआर दर्ज करा कर उन्हें जेल भेजें। कार्यकारी अध्यक्ष राजेश सिंह ने कहा कि पूज्य योगी जी की सरकार में सारे गुंडे माफिया गोरखपुर शहर से पलायन कर गए हैं ऐसे में एक चिकित्सक प्राइवेट बाउंसर क्यों रखा है, इससे स्पष्ट प्रतीत होता है कि उसकी नियत मरीज को मारपीट कर पैसा वसूलने की है ऐसे डॉक्टर के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई होनी चाहिए जिससे फिर कोई भी डॉक्टर इस प्रकार की अमानवीय कृत ना करें। इस अवसर पर रूपेश कुमार श्रीवास्तव राजेश सिंह मदन मुरारी शुक्ला विजय नारायण मिश्र रघुनंदन उपाध्याय अनूप कुमार गिरिजापति त्रिपाठी संतोष सिंह वरुण वर्मा बैरागी आदि कर्मचारी नेता उपस्थित रहे।

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